भौतिकता या आत्मीयता
भौतिकता या आत्मीयता हर चीज को भौतिक रूप में पाना ही हमे सबसे ज्यादा जरुरी लगता है किंतु हम […]
भौतिकता या आत्मीयता हर चीज को भौतिक रूप में पाना ही हमे सबसे ज्यादा जरुरी लगता है किंतु हम […]
जीवन की व्यस्तता जीवन की व्यस्तता …… जीवन की व्यस्तता मे व्यक्ति इतना व्यस्त हो चुका है कि जीवन मे
वर्तमान विचार … आजकल सभी ने आधुनिकता को सिर्फ पहनावे तक ही नहीं विचारो तक अपनाया है, साधनो की बात
स्व-महत्वपूर्णता किसी से लगाव होना और फिर उस लगाव का बढ़ता जाना प्रेम है किन्तु प्रेम में कभी किसी के
|| बिछड़ना || बिछड़ना स्वयं से …जीवन में कितनी बार ऐसा हुआ है जब हम अपने भाव को छुपा लिया
नया साल कैलेंडर मे सिर्फ तारीख नहीं बदलती है नजर… नजरिया …ख्याल… ख्वाब…हालत … हालात … हकीकत …जज़्बात … लोग
आकर्षण का सामान्य अर्थ किससे हो सकता है किसी भी चीज के लिए …किसी भी आदत के लिए …. किसी
मज़ाक मजाक…. कभी किसी ने आपके साथ तो आपने किसी ना किसी के साथ मज़ाक किया होगा किन्तु उसके बाद
।।दृष्टिकोण।। एक दृष्टि में कितने दृष्टिकोण है यह स्थिति पर निर्भर करता है क्योंकि हर व्यक्ति ने अपनी सूझबूझ अपनी
दूर या पास जिन्दगी मे कई दफा ऐसा हुआ होगा …कि किन्हीं से दूर जाने का डर इतना ज्यादा होता